उत्तरी रोहिणी थाने का एसएचओ और सब- इंस्पेक्टर सस्पेंड
इंद्र वशिष्ठ,
भ्रष्ट पुलिसकर्मियों के लगातार पकड़े जाने के बावजूद निरंकुश,बेखौफ पुलिसकर्मियों द्वारा रिश्वत लेना जारी है।
सीबीआई ने उत्तरी रोहिणी थाने में तैनात सब- इंस्पेक्टर विजय सिंह को चालीस हज़ार रुपये रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है। सब- विजय सिंह ने हत्या के प्रयास के मामले में आरोपी को गिरफ्तार न करने और अग्रिम जमानत में मदद करने के लिए एक लाख रुपये रिश्वत मांगी थी।
रोहिणी जिले के डीसीपी राजीव रंजन ने बताया कि सब- इंस्पेक्टर विजय सिंह और उसके सुपरवाइजरी अफसर उत्तरी रोहिणी थाने के एसएचओ खालिद हुसैन को निलंबित कर दिया गया है और उनके विरुद्ध विभागीय कार्यवाही शुरू कर दी गई है।
सीबीआई द्वारा दर्ज एफआईआर के अनुसार महेश उर्फ पंकज के ख़िलाफ़ रोहिणी उत्तर थाने में हत्या के प्रयास आदि धाराओं के तहत मामला दर्ज है। सब- इंस्पेक्टर विजय सिंह इस मामले का जांच अफसर है।
आरोप है कि सब- इंस्पेक्टर विजय सिंह ने महेश को गिरफ्तार न करने, अग्रिम जमानत कराने में मदद करने और उसके खिलाफ जारी गैर जमानती वारंट को कैंसिल कराने के लिए 50 हजार रुपये रिश्वत मांगी। महेश के कजन ने तीन किस्तों में रिश्वत की रकम दे दी। इसके बाद भी सब- इंस्पेक्टर विजय सिंह ने 50 हजार रुपये रिश्वत और मांगी। तब कजन ने 4 अगस्त को सीबीआई में शिकायत कर दी। सीबीआई ने 5 अगस्त को सब- इंस्पेक्टर विजय सिंह को रोहिणी कोर्ट के बाहर से 40 हजार रुपए रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार कर लिया।
भ्रष्टाचार चरम पर-
एक करोड़ मांगने वाला इंस्पेक्टर सुनील जैन गिरफ्तार-
उत्तर पश्चिम जिले के डीआईयू में तैनात इंस्पेक्टर सुनील जैन को एक करोड़ रुपये रिश्वत मांगने के मामले में रोहतक एंटी करप्शन ब्रांच ने एक अगस्त को गिरफ्तार किया। इंस्पेक्टर सुनील जैन के भाई के सोनीपत स्थित स्कूल में क्लर्क संदीप को 30 लाख रुपये रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया। आरोप है कि दो आपराधिक मामलों में आरोपी प्रवीण लाकड़ा के मामले को हल्का करने के लिए रिश्वत मांगी थी।
50 लाख मांगने वाली थानेदारनी-
पश्चिम विहार ईस्ट थाने में तैनात सब इंस्पेक्टर नीतू बिष्ट द्वारा 50 लाख रुपए रिश्वत मांगने का मामला 27 जुलाई को सामने आया। बीस लाख से ज्यादा सब- इंस्पेक्टर नीतू बिष्ट ले चुकी थी।
7 लाख मांगने वाला थानेदार-
साउथ-वेस्ट डिस्ट्रिक्ट के कापसहेड़ा थाने में तैनात सब-इंस्पेक्टर सुरेश द्वारा चोरी के मामले में गिरफ्तार न करने की एवज में सात लाख रुपए मांगने का मामला सामने आया है। 24 जुलाई को विजिलेंस की टीम ने 50 हजार रुपए लेते हुए सब इंस्पेक्टर सुरेश को पकड़ लिया। सब- इंस्पेक्टर ने बचने के लिए कहानी बना दी कि ये रकम तो केस प्रॉपर्टी के रूप में उसने जब्त की है। विजिलेंस ने जांच की तो पता चला कि थाने में इस बारे में सब- इंस्पेक्टर सुरेश ने रिकॉर्ड में कुछ भी दर्ज (डीडी एंट्री) नहीं किया था। जिसके बाद विजिलेंस यूनिट ने सब- इंस्पेक्टर के खिलाफ के खिलाफ़ भ्रष्टाचार का मामला दर्ज कर लिया।
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