Wednesday 27 May 2020

कालका जी मंदिर का पुजारी शराब तस्करी में गिरफ्तार। पुलिस ने शराब तस्करों के अंतराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश किया। शराब की 23 पेटियां बरामद।

                    डीसीपी मोनिका भारद्वाज
                    बरामद शराब के साथ पोनी
कालका जी मंदिर का पुजारी शराब तस्करी में गिरफ्तार।

इंद्र वशिष्ठ
कालका जी मंदिर के एक पुजारी को उत्तरी जिला पुलिस ने शराब की तस्करी में गिरफ्तार किया है। पुलिस ने अवैध शराब के तस्करों के अंतराज्यीय गिरोह का पर्दाफाश कर शराब की 23 पेटियां बरामद की हैं।
लॉक डाउन में शराब तस्करी -
उत्तरी जिला पुलिस की उपायुक्त मोनिका भारद्वाज के अनुसार लॉकडाउन के दौरान शराब तस्करी को रोकने के लिए पुलिस जुटी हुई थी।
सूचना मिली थी कि हरियाणा से शराब तस्कर शराब लाकर उत्तर और मध्य दिल्ली में सप्लाई करते हैं।
स्पेशल स्टाफ के इंस्पेक्टर सुनील कुमार शर्मा, सब इंस्पेक्टर प्रवीण शर्मा, एएसआई यशपाल सिंह, हवलदार अंसार ख़ान और सिपाही रवींद्र सिंह की टीम ने एक सूचना के आधार पर आज बाहरी रिंग रोड पर बुराड़ी चौक के पास बैरीकेड लगा कर चेकिंग शुरू कर दी।
मुकरबा चौक की ओर से आई सफेद रंग की सैंत्रो कार (DL-4CAJ 6854) को पुलिस ने बैरीकेड लगा कर रोक लिया।
कार में से शराब की 23 पेटी जब्त की गई। पेटियों में देशी और अंग्रेजी शराब के  कुल 1140 पव्वे बरामद हुए हैं। कार सवार सत्य नारायण भारद्वाज उर्फ़ पोनी( 50) निवासी जखीरा को गिरफ्तार कर लिया गया।

अवैध शराब की तस्करी के लिए आबकारी कानून के अलावा लॉक डाउन के उल्लंघन, जीवन के लिए ख़तरनाक किसी बीमारी के संक्रमण को फ़ैलाने की संभावना के लिए किए जाने वाले किसी भी कार्य को घातक रुप से करने की धारा 188/269/270 के तहत बुराड़ी थाने में मामला ( एफआईआर नंबर 227) दर्ज किया गया है।

पुजारी निकला शराब तस्कर-
 डीसीपी मोनिका भारद्वाज के अनुसार वह यह शराब हरियाणा के शराब माफिया से लेकर यहां सप्लाई करने लाया था।
सत्यनारायण उर्फ पोनी का संबंध दिल्ली के कालका जी मंदिर से जुड़ा हुआ है। चिराग दिल्ली के सैकड़ों परिवार कालकाजी मंदिर के पुजारी है। उनमें से सत्यनारायण शर्मा  भी एक पुजारी हैं।
मंदिर में पूजा का भी ठेका-
 चिराग दिल्ली के बहुत से पुजारी अब खुद पूजा नहीं कराते हैं वह अपनी बारी आने पर दूसरे पुजारी से पैसा लेकर अपने बदले उसे पूजा करवाने का ठेका दे देते हैं। उस पुजारी को ठेकेदार कहा जाता है। सिर्फ पुजारियों के परिवार का ही सदस्य ही ठेका ले सकता है।

जखीरा में हजारों गज जमीन पर कब्जा-
सत्यनारायण ने पुलिस को अपना स्थायी पता शांति नगर, त्री नगर बताया। लेकिन सत्यनारायण परिवार के साथ जखीरा (मोती नगर थाना क्षेत्र) में रेलवे लाइन के  पास जमीन पर कब्जा कर बनाए घर में रहता है। रेलवे लाइन के पास स्थित इस सरकारी जमीन पर पोनी, उसके भाइयों सोहन लाल उर्फ़ सोनू भारद्वाज और मनमोहन उर्फ़ टीटू का कब्जा है।
पुलिस की मिलीभगत-
 रेलवे पुलिस, स्थानीय पुलिस और अन्य संबंधित सरकारी एजेंसियों की मिलीभगत से हजारों गज जमीन पर कब्जा कर के इन लोगों ने किराएदार रखे हुए है।
बिजली कंपनियों की सांठ-गांठ से बिजली के मीटर लगाए गए हैं। एक मीटर तो सोनू ने अपने मौसा बी डी झा उर्फ़ सरजी के नाम से भी लगवाया था। 
पुलिस गंभीरता से जांच करें तो इन तीनों भाइयों के साथ साथ कब्जा करने और मीटर लगवाने में मदद करने वाले अफसरों और कर्मचारियों के खिलाफ भी आपराधिक मामले दर्ज किए जाने चाहिए।

 धर्मशाला में भी किराएदार-
यहीं नहीं कालका जी में कुछ दानवीरों ने धर्मशाला बना कर देखभाल के लिए धर्मशाला इनकी दादी को सौंप दी थी लेकिन इस परिवार ने धर्मशाला पर पूरी तरह अपना कब्जा कर उसमें भी किराएदार रख दिए। इसके अलावा कालका जी मंदिर के पास सैकड़ों गज जमीन पर भी कब्जा कर लिया। 

पुलिस हाजिरी लगाती है-
पोनी अपने रिश्तेदारों के सामने बड़े रौब से बताता भी  है कि पुलिस वाले तो उसके यहां हाजिरी लगाने आते हैं। शायद यही वजह है कि पुलिस ने पहले कभी पोनी के खिलाफ कार्रवाई नहीं की।
आईपीएस के साले के करोड़ों देने है-
सट्टा और जुए की लत के कारण पोनी पूरी तरह बर्बाद हो चुका है। दक्षिण जिला के तत्कालीन डीसीपी ईश्वर सिंह के साले वीर सिंह का ही इसने दो -ढाई करोड़ रुपए देना है। इसके अलावा अनेक रिश्तेदारों, दोस्तों जानकारों से भी इसने कर्ज लिया हुआ है।
वीर सिंह से लिए कर्ज की बात तो वह बड़ी शान से खुद ही सबको बताता है। 

उत्तरी जिला पुलिस अगर गहराई और गंभीरता से जांच करे तो सारी असलियत सामने आ जाएगी। मोती नगर थाना क्षेत्र में जखीरा वर्षों से सट्टे और जुए के अड्डे के रुप में भी त्री नगर और इंद्र लोक में बदनाम  हैं।




                    सत्यनारायण उर्फ पोनी







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